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पटना, 19 दिसम्बर, 2023:- ‘‘बिहार अब बदल रहा है तथा
विकास की ओर अग्रसर है। यहाँ की परिस्थितियाँ और माहौल बदल चुके
हैं। यहाँ के युवाओं की सोच बदल रही है और वे विकास के लिए
प्रयत्नशील हैं। बिहार की वास्तविक स्थिति और इसकी नई छवि के बारे
में गुजरात के लोगों को बताएँ।’’- यह बातें, माननीय राज्यपाल
श्री राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर ने राजभवन के दरबार हाॅल में
आई॰आई॰आई॰टी॰, सूरत, गुजरात के छात्र-छात्राओं के साथ
संवाद के दौरान कही। ये विद्यार्थी ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ अंतर्गत
‘युवा संगम तृतीय चरण’ कार्यक्रम के तहत बिहार की यात्रा पर हैं।
राज्यपाल ने उनसे कहा कि बिहार के लोग प्रतिभाशाली और
परिश्रमी हैं तथा वे कला, संस्कृति, शिक्षा, उद्यमिता आदि सभी क्षेत्रों में
आगे हैं। प्रतियोगिता परीक्षाओं में भी यहाँ के विद्यार्थी बड़ी
संख्या में सफल होते हैं।
उन्होंने कहा कि बिहार की ऐतिहासिक एवं सांस्कृतिक विरासत
भारत के अन्य राज्यों की तुलना में काफी समृद्ध है। इस राज्य का संबंध
भगवान बुद्ध, महावीर, चाणक्य, चन्द्रगुप्त मौर्य और सम्राट अशोक जैसे
महापुरूषों से रहा है। यहाँ माता सीता, गुरू गोबिन्द सिंह जी महाराज
और भारत के प्रथम राष्ट्रपति डाॅ॰ राजेन्द्र प्रसाद का जन्म हुआ।
महात्मा गाँधी ने बिहार के चंपारण से सत्याग्रह की शुरूआत की थी।
आदि शंकराचार्य ने यहाँ शास्त्रार्थ किया था। प्राचीनकाल में नालंदा
विश्वविद्यालय शिक्षा का महत्वपूर्ण केन्द्र था। बिहार का गया मोक्षधाम
के रूप में विख्यात है। वैशाली विश्व में लोकतंत्र की जननी है। राज्यपाल
ने छात्र-छात्राओं को बिहार के लीची, मखाना आदि के बारे में भी
बताया।
उन्होंने उनसे अपने लक्ष्य के प्रति निष्ठावान एवं समर्पित होने
को कहा। उन्होंने विद्यालयों में विद्यार्थियों द्वारा अपने देश के
संबंध में प्रतिज्ञा ;च्समकहमद्ध लेने की चर्चा करते हुए कहा कि हम सभी
भारतमाता की संतान हैं और यही हमारी एकता का सूत्र है जिसे सुदृढ़
बनाने की जरूरत है। एकता के कारण ही भारत श्रेष्ठ है। राज्यपाल ने
छात्र-छात्राओं के प्रश्नों के उत्तर भी दिये।
इस अवसर पर राज्यपाल के प्रधान सचिव श्री राॅबर्ट एल॰ चोंग्थू,
आई॰आई॰ आई॰टी॰, सूरत, गुजरात एवं आई॰आई॰एम॰,
बोधगया के विद्यार्थीगण, प्राध्यापकगण, राज्यपाल सचिवालय के पदाधिकारी
तथा अन्य लोग उपस्थित थे।